Japan Earthquake Today: जापान एक बार फिर भीषण भूकंप से कांप उठा है। हालात इतने खराब हो गए हैं कि भूकंप प्रभावित प्रांत में समुद्र का जलस्तर खतरनाक लेवल पर पहुंच गया है। और लोगों को घर खाली करने का अनुरोध तक कर दिया गया है। पश्चिमी जापान में 7.5 तीव्रता के भूकंप के झटके महसूस किए गए हैं। यह भूकंप के झटके नॉर्थ सेंट्रल जापान में महसूस किए गए हैं।
Japan Earthquake Today
नए साल पर जापान एक बार फिर भीषण भूकंप से कांप उठा है। इस भूकंप के आते ही सुनामी की चेतावनी जारी कर दी गई है। जापान के मौसम विभाग एजेंसी (JMA) के मुताबिक, सुनामी की चेतावनी में लोगों से इशिकावा, निगाता, तोयामा और यामागाता के प्रान्तों के तटीय इलाकों को जल्द से जल्द खाली करने का आदेश दिया गया है। आशंका यह जताई जा रही है कि इशिकावा में नोटों प्रायद्वीप के नजदीक समुद्र से 5 मीटर तक की लहरें उठ सकती है।
NHK की रिपोर्ट के मुताबिक, नए साल के दिन महसूस किए गए भूकंप के झटके टोक्यो और कांटों क्षेत्र में महसूस किए गए हैं। सुनामी की चेतावनी जारी करने के बाद इशिकावा, निगाता, तोयामा और यामागाता प्रान्तों के तटीय क्षेत्रों को जल्दी से जल्दी छोड़ने का आग्रह किया गया है। इसके बाद 1.2 मीटर से अधिक बड़ी लहरें इशिकावा में नोटों प्रायद्वीप के वाजिमा बंदरगाह तक पहुंच गई।
जापान में उठने लगी सुनामी की लहरें
जापान में स्थानीय समयानुसार शाम 4 बजकर 21 में सुनामी की चेतावनी जारी की गई थी। इसके बाद टोयामा प्रांत में 4:35 बजे 80 सेमी की लहरें समुद्री तट से टकरा गई और फिर 4:36 में लहरें निगाटा प्रांत तक पहुंच गई। इससे पहले जापान में 28 दिसंबर को भूकंप के तेज झटके महसूस किए गए थे। जापान के कुरिल द्वीप में आए भूकंप की तीव्रता 6.3 तीव्रता मापी गई थी। यूनाइटेड जियोलॉजिकल सर्वे के मुताबिक आधे घंटे के अन्दर ही यहां दो भूकंप के झटके महसूस किए गए थे।
रेलवे स्टेशन पर खड़ी बुलेट ट्रेन हिलने लगी
जापान में भूकंप के झटके महसूस किए जाने के बाद इशिकावा प्रांत में रेलवे स्टेशन पर खड़ी बुलेट ट्रेन बहुत ही तेजी से हिलने लगी। जिसके बाद स्टेशन में मौजूद लोग घबरा गए। इस घटना से जुड़ी वीडियो सोशल मीडिया प्लेटफॉर्म पर रूसी न्यूज़ RT ने पोस्ट किया है।
UPDATE: All high-speed trains stopped in Ishikawa Prefecture after powerful quakes hit western Japan – media pic.twitter.com/d0zkLNp8Rh
— RT (@RT_com) January 1, 2024
2011 में भूकंप के बाद सुनामी से हुई थी 18,000 मौतें
जापान में मार्च 2011 में 9 तीव्रता वाले भीषण भूकंप के करण जबरदस्त सुनामी आई थी। इस भूकंप के कारण उठी सुनामी की लहरों ने फुकुशिमा न्यूक्लियर प्लांट को पूरी तरह से तबाह कर दिया था। इसे पर्यावरण को नुकसान के लिहाज से बड़ी घटना माना गया था। तब समुद्र में उठी 10 मीटर ऊंची लहरों ने कई शहरों में तबाही मचा दी थी। इसमें लगभग 18000 लोगों की मौत हुई थी।
रिंग ऑफ़ फायर पर बसा है जापान
दुनिया में 90% भूकंप रिंग ऑफ फायर क्षेत्र में आते हैं। यह क्षेत्र 40 हजार किलोमीटर में फैला है। रिंग ऑफ फायर का असर न्यूजीलैंड से लेकर जापान, अलास्का और उत्तर व साउथ अमेरिका तक देखा जा सकता है।
रिंग ऑफ़ फायर ऐसा इलाका होता है जहां कॉन्टिनेंटल प्लेट्स के साथ ओशयनिक टैकटोनिक प्लेट्स भी मौजूद है। यह प्लेट्स जब आपस में टकराती है तो भूकंप आता है। इनके असर से ही सुनामी आती है और वाॅल्केनो भी फटते हैं।
जापान में सबसे ज्यादा भूकंप क्यों आते हैं।
जापान रिंग ऑफ फायर के क्षेत्र में आता है, और दुनिया के 90% भूकंप रिंग ऑफ फायर के क्षेत्र में आते हैं। जापान रिंग ऑफ फायर के क्षेत्र में आने के कारण यहां सबसे ज्यादा भूकंप आते हैं।