Budget Session 2024 in Hindi: संसद का बजट सत्र आज यानी 31 जनवरी, 2024 से शुरू हो गया है। सुबह 11:00 राष्ट्रपति द्रोपदी मुर्मू जी के अभिभाषण के साथ ही बजट सत्र की आधिकारिक शुरुआत हुई। वर्तमान लोकसभा का यह आखिरी सत्र है। यह बजट सत्र 9 फरवरी, 2024 तक चलेगा।
Parliament budget Session 2024
Parliament budget Session 2024: आज से संसद के बजट सत्र की शुरुआत हो चुकी है। इस दौरान पीएम नरेंद्र मोदी जी सासद भवन पहुंचे। इसके साथ ही सत्र के पहले पीएम मोदी जी का संबोधन किया। पीएम मोदी जी ने राम-राम के भाषण की शुरुआत की, वहीं इसके आगे उन्होंने नारी शक्ति को लेकर भी बात की है।
Budget Session 2024 live
संसद का बजट सत्र आज से शुरू हो गया है। उससे पहले राष्ट्रपति द्रोपदी मुर्मू जी ने संसद के दोनों सदनों को संबोधित करते हुए मोदी सरकार के 10 साल के कामकाज का हिसाब किताब दिया। इस दौरान उन्होंने कहा कि बीता वर्ष भारत के लिए ऐतिहासिक उपलब्धियां से भरा रहा है। मोदी सरकार ने रिफाॅर्म, परफॉर्म और ट्रांसफॉर्म के अपने कमिटमेंट को लगातार जारी रखा है।
राष्ट्रपति द्रोपदी मुर्मू जी का अभिभाषण
बजट स्तर के लिए राष्ट्रपति द्रौपदी मुर्मू की संसद भवन 11:00 बजे पहुंच चुके थे। संसद भवन में अपने अभिभाषण में राष्ट्रपति द्रोपति मुर्मू जी ने कहा कि इस नए संसद भवन में यह मेरा पहले संबोधन है। आज की अमृत काल की शुरुआत में यह भव्य भवन बना है। यह भारत की सभ्यता संस्कृति की चेतना भी है। इसमें हमारी लोकतांत्रिक और संसदीय परंपराओं के सम्मान का प्राण भी है।
यह हमारे संविधान के लागू होने का भी 75वां वर्ष है। इसी कालखंड में आजादी के 75 वर्ष का उत्सव अमृत महोत्सव भी संपन्न हुआ है। देश ने अपने गुमनाम स्वतंत्रता सेनानियों को याद किया है। 75 साल बाद युवा पीढ़ी ने फिर स्वतंत्रता संग्राम के उस कालखंड को जिया है।
दुनिया में गंभीर संकटों के बीच भारत सबसे तेजी से विकसित होती बड़ी अर्थव्यवस्था बना। लगातार दो क्वार्टर में भारत के विकास दर 7.5% से ऊपर रही है। भारत चंद्रमा के दक्षिणी ध्रुव पर झंडा फहराने वाला पहला देश बना।
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मेरी सरकार ने वन रैंक वन पेंशन को भी लागू किया, जिसका इंतजार चार दशकों से था। ओरओपी लागू होने के बाद अब तक पूर्व सैनिकों को करीब एक लाख करोड़ रुपए मिल चुके हैं। भारतीय सेना में पहली बार चीफ ऑफ डिफेंस स्टाफ की नियुक्ति भी हुई है।
Ram Mandir के निर्माण की आशंका कई सदियों से थी। आज यह सच हो चुका है। जम्मू कश्मीर में धारा 370 हटाने को लेकर शंकाएं थीं। आज वह इतिहास हो चुकी है। इसी सदन ने तीन तलाक के खिलाफ कड़ा कानून बनाया।
हमने भारत को फ्रेजाइल फाइव से निकलकर, टॉप फाइव इकोनॉमी में शामिल होते देखा। भारत का निर्यात लगभग 450 मिलियन डॉलर से बढ़कर 775 बिलियन डॉलर से अधिक हो गया है । पहले की तुलना में एफडीआई दोगुना हो गया। खादी और ग्रामोद्योग के उत्पादों की बिक्री में चार गुना से अधिक की वृद्धि हुई है।
उत्तर प्रदेश और तमिलनाडु में डिफेंस कॉरिडोर का विकास हो रहा है। मोदी सरकार ने डिफेंस सेक्टर में निजी क्षेत्र के भागीदारी सुनिश्चित की है। स्पेस सेक्टर को भी हमारी सरकार ने युवा स्टार्टअप्स के लिए खोल दिया है।
ईज ऑफ़ डूइंग बिजनेस में लगातार सुधार हो रहा है। बीते कुछ सालों में 40,000 से ज्यादा कॉम्प्लिकेशन हटाए या सरल किए गए हैं। कंपनी एक्ट और लिमिटेड लायबिलिटी पार्टनरशिप एक्ट में 63 प्रावधानों और को अपराध की सूची से बाहर किया गया है।
बीते दशकों में, मोदी सरकार ने सुशासन और पारदर्शिता को हर व्यवस्था का मुख्य आधार बनाया है। इस दौरान देश को इंसॉल्वेंसी और बैंकरप्टी कोड मिला है। देश को जीएसटी के रूप में एक देश एक्ट कानून मिला है।
मोदी सरकार का एक और बड़ा रिफॉर्म डिजिटल इंडिया का निर्माण है। आज दुनिया के कुल रियल टाइम डिजिटल लेनदेन का 40% भारत में होता है। बीते महीने यूपीआई से रिकॉर्ड 1200 करोड़ ट्रांजैक्शन हुए हैं। इसके तहत 18 लाख करोड रुपए का लेनदेन हुआ है।
डिजिटल के साथ-साथ फिजिकल इंफ्रास्ट्रक्चर पर भी रिकॉर्ड निवेश हुआ है। बीते 10 साल के दौरान गांव में पौने चार लाख किलोमीटर नई सड़के बनी है। नेशनल हाईवे की लंबाई, 90,000 किलोमीटर से बढ़कर एक लाख 40 हजार किलोमीटर हुई है।
मोदी सरकार आज खेती को अधिक लाभकारी बनाने पर बल दे रही है। पीएम किसान सम्मन निधि के तहत अब तक 280000 करोड़ रुपए किसानों को मिल चुके हैं। 10 सालों में किसानों के लिए बैंक से आसान लोन में तीन गुना बढ़ोतरी हुई है।
विश्व में आज ऐसे उत्पादों की विशेष मांग है जो पर्यावरण के अनुकूल हो। इसलिए मेरी सरकार जीरो इफेक्ट, जीरो इफेक्ट पर बल दे रही है। आज ग्रीन एनर्जी पर हमारा बहुत फोकस है। 10 साल में Non-Fossil Fuel पर आधारित ऊर्जा क्षमता 81 गीगावाॅट से बढ़कर 188 गीगावाॅट हो चुकी है।
कई मित्र वर्ष 2047 को देखने के लिए इस सदन में नहीं होंगे लेकिन हमारी विरासत ऐसी होनी चाहिए कि आगे आने वाली पीढ़ियां हमें याद रखें।
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